तक दिल्ली-मुंबई सहित इन 20 शहरों को होगी एक और एयरपोर्ट की जरूरत

तक दिल्ली-मुंबई सहित इन 20 शहरों को होगी एक और एयरपोर्ट की जरूरत

साल 2030 तक भारत के कम से कम 20 शहरों को एक और एयरपोर्ट की जरूरत होगी। नागर विमानन मंत्रालय द्वारा किए गए अध्ययन के शुरुआती निष्कर्षों से ये पता चला है। इन 20 शहरों में मुंबई, दिल्ली, गोवा, विशाखापट्टनम, जयपुर, पुणे, अहमदाबाद, राजकोट, पटना, कोलकाता और बेंगलुरु जैसे शहर शामिल हैं।

हिंदुस्तान टाइम्स के मुताबिक, नागर विमानन मंत्रालय की ये रिपोर्ट बताती है कि साल 2035 तक इस सूची में और भी शहर शामिल हो जाएंगे। हालांकि मंत्रालय का ये अध्ययन अभी भी जारी है और ये पता लगाने की कोशिश की जा रही है कि कब तक ये हवाईअड्डे अपनी क्षमता तक पहुंच जाएंगे।

जब ये हवाईअड्डे अपनी क्षमता तक पहुंच जाएंगे, विमानन मंत्रालय संबंधित राज्य सरकारों को लिखेगा, उनसे जानकारी साझा करेगा और हवाईअड्डे के इसकी क्षमता तक पहुंचने से कम से कम पांच साल पहले उन्हें एक नए हवाईअड्डे के लिए भूमि की पहचान करने के लिए कहा जाएगा।

विमानन नियामक महानिदेशालय के नागरिक उड्डयन द्वारा जारी 2017-18 के आंकड़ों के मुताबिक वर्तमान में भारत के हवाईअड्डों से सालाना 183.90 मिलियन यात्री सफर करते हैं। हाल के वर्षों में यात्रियों की संख्या काफी बढ़ी है। इससे पहले 2016-17 में यह संख्या 158.43 मिलियन और 2015-16 में यह 134.98 मिलियन थी।

इस साल यह संख्या 200 मिलियन पार करने की उम्मीद है। रिपोर्ट के मुताबिक, कुछ बड़े हवाईअड्डे पहले से ही अपनी क्षमता से अधिक परिचालन कर रहे हैं। उदाहरण के लिए, दिल्ली हवाईअड्डे से साल 2017 में 63.5 मिलियन यात्रियों ने सफर किया था और इस साल यह संख्या 70 मिलियन तक पहुंचने की उम्मीद है। उसके बाद यहां क्षमता से अधिक परिचालन शुरू हो जाएगा। एयरपोर्ट काउंसिल इंटरनेशनल के मुताबिक, दिल्ली एयरपोर्ट दुनिया के सबसे व्यस्त हवाईअड्डों में से एक है।

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