सीबीआई के निदेशक आलोक वर्मा और विशेष निदेशक राकेश अस्थाना के बीच चरम पर विवादों के बाद सरकार ने एजेंसी के दोनों निदेशकों को छुट्टी पर भेज दिया है। इसके साथ ही, तत्काल प्रभाव से संयुक्त निदेशक एम. नागेश्वर राव को केन्द्रीय एजेंसी का अंतरिम निदेशक बनाया गया है। समाचार एजेंसी भाषा ने अपने सूत्रों के हवाले से बताया है कि सीबीआई मुख्यालय की इमारत को सील किया गया। न तो कर्मियों और न ही बाहरी लोगों को इमारत में जाने की इजाजत।
इसको लेकर पर्सनल एंड ट्रेनिंग डिपार्टमेंट की तरफ से बयान जारी किया गया है। इससे पहले, मंगलवार को दिल्ली हाईकोर्ट ने राकेश अस्थाना के खिलाफ आपराधिक कार्यवाही पर रोक लगाते हुए यथास्थिति बरकरार रखने का आदेश दिया।
हाईकोर्ट की तरफ से राकेश अस्थाना को 29 अक्टूबर तक इस मामले में अपना जवाब देने के लिए कहा गया है। इसके साथ ही, रिश्वतखोरी व अवैध उगाही के आरोपों में फंसे सीबीआई के उप-अधीक्षक(डीएसपी) देवेंद्र कुमार को अदालत ने सात दिन की रिमांड पर सीबीआई को सौंप दिया है। अस्थाना ने घूस के आरोप में अपने खिलाफ दायर एफआईआर को चुनौती दी थी।
राकेश अस्थाना ने आलोक वर्मा के खिलाफ की थी शिकायत
इससे पहले, अस्थाना ने कैबिनेट सचिव से 24 अगस्त को अपनी शिकायत में आलोक वर्मा के खिलाफ शिकायत करते हुए मीट कारोबारी मोइन कुरैशी के खिलाफ घूसखोरी केस में हैदराबाद के रीयल स्टेट एजेंट सतीश सना से 2 करोड़ रूपये घूस लेने का आरोप लगाया था। अस्थाना ने अपने आरोप में यह भी कहा था कि वर्मा ने उन्हें फरवरी में फोन कर सना को पूछताछ के लिए नहीं बुलाने को कहा था।