राजधानी दिल्ली में पश्चिमी विक्षोभ के प्रभाव और उत्तर प्रदेश और राजस्थान पर बनी चक्रवाती हवाओं के चलते बुधवार की रात और गुरुवार सुबह दिल्ली आसपास के इलाकों में हल्की बारिश की संभावना है। मौसम में इस बदलाव से अगले कुछ दिन अधिकतम तापमान 38 से 40 डिग्री सेल्सियस के बीच रहने की संभावना है।
मौसम विभाग के अनुसार, दिल्ली में आज का अधिकतम तापमान भी 40 डिग्री सेल्सियस रहने का अनुमान है। वहीं सोमवार को भी अधिकतम तापमान 40 डिग्री सेल्सियस रहा। यह सामान्य से एक डिग्री सेल्सियस अधिक रहा। वहीं, न्यूनतम तापमान 25 डिग्री सेल्सियस रहा। यह सामान्य से एक डिग्री सेल्सियस अधिक है। हवा में आर्द्रता का अधिकतम स्तर 84 फीसदी के करीब रहा। वहीं, पालम राजधानी का सबसे गर्म इलाका रहा। यहां अधिकतम तापमान 41 डिग्री सेल्सियस के करीब पहुंच गया।
मौसम वैज्ञानिक कुलदीप श्रीवास्तव ने बताया कि 2 मई की रात और 3 मई की सुबह राजधानी में बारिश के आसार हैं। उत्तर प्रदेश व हरियाणा की सीमा पर एक कम दबाव का क्षेत्र बना हुआ है। वहीं, पूर्व की ओर से काफी मात्रा में नमी दिल्ली पहुंच रही है। मौसम में इस बदलाव से बारिश के आसार बने हुए हैं। उन्होंने बताया कि इस पूरे सप्ताह दिन में तापमान अधिक रहेगा। वहीं, रात में मौसम में बदलाव से तापमान में कुछ कमी दर्ज की जा सकती है।
उत्तर प्रदेश का सबसे गर्म शहर रहा आगरा
ताजनगरी में मौसम का मिजाज हर रोज बदल रहा है। सोमवार को भी सूरज ने दिन भर तपाया। इस दिन आगरा प्रदेश का सबसे गर्म शहर दर्ज हुआ है।
तापमान के लगातार बढ़ने से विक्षोभ भी जल्द सक्रिय हो रहे हैं। यही कारण है कि बार-बार और बहुत जल्द बदलाव देखने को मिल रहा है। कम दबाव वाला क्षेत्र विकसित हो रहा है। सोमवार को तापमान में और बढ़ोतरी हुई। सुबह से तेज धूप ने इसे दशमलव दो डिग्री और बढ़ा दिया। अधिकतम तापमान 42.2 डिग्री सेल्सियस रिकार्ड किया गया है। यह सामान्य से एक डिग्री सेल्सियस अधिक है जबकि न्यूनतम तापमान अब सामान्य स्थिति में है। यह 24.0 डिग्री सेल्सियस पर स्थिर है।
दो मई तक अंधड़ और बारिश
दो मई तक मौसम बिगड़ा रह सकता है। मौसम विभाग ने इन दिनों हल्की बारिश, गरज के साथ छींटे पड़ने के आसार जताए हैं। साथ ही धूल भरी हवाएं, तेज अंधड़ और बिजली गिरने के संकेत भी दिए हैं। ओलावृष्टि भी हो सकती है।
–यूपी में टाप फाइव–
आगरा:- 42.2 डिग्री सेल्सियस
झांसी:- 44.1 डिग्री सेल्सियस
इलाहाबाद:- 39.9 डिग्री सेल्सियस
कानपुर:- 38.0 डिग्री सेल्सियस
अलीगढ़:- 37.8 डिग्री सेल्सियस
(अधिकतम तापमान)
यूपी, बिहार, उत्तराखंड में आंधी-पानी से जानमाल की भारी तबाही
बिहार, उत्तर प्रदेश, झारखंड और उत्तराखंड के कई इलाकों में सोमवार सुबह आई तेज आंधी और बारिश से इलाके में भारी तबाही हुई है। सबसे अधिक नुकसान आम, लीची, मक्का और प्याज की फसल को हुआ है जबकि मूंग को लाभ पहुंचा है। बिहार-झारखंड में चार-चारऔर यूपी में दो लोगों की मौत हो गई। रविवार सुबह भी आंधी-पानी से बिहार में 11 जबकि झारखंड में छह लोगों की मौत हो गई थी।
बिहार में सोमवार सुबह करीब 46.3 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से चली हवा ने दर्जनों पेड़ उखाड़ दिए। कृषि विज्ञान केंद्र के प्रभारी डॉ. मृणाल का कहना है कि बारिश के कारण सबसे अधिक प्याज की फसल को क्षति पहुंची है। उन्होंने यह भी बताया कि यदि इस झंझावात में पेड़ों पर आम और लीची के फल सुरक्षित बच गए होंगे तो उन्हें पानी गिरने का फायदा होगा।
इस दौरान बिहार के अलग-अलग इलाकों में चार लोगों की मौत हो गई। पटना में करीब 12 मिलीमीटर वर्षा रिकॉर्ड की गई। इससे न्यूनतम तापमान में 6 डिग्री तक की गिरावट आई। उत्तर बिहार के कई जिलों में घरों के छप्पर व एस्बेस्टस उड़ गए। कोसी व सीमांचल में कई जगह ओले पड़े। राष्ट्रीय राजमार्गों पर पेड़ गिरने से यातायात बाधित है। मौसम विभाग के अनुसार मॉनसून पूर्व विक्षोभ के कारण अगले तीन दिनों तक आंधी-पानी के आसार बने रहेंगे।
झारखंड में 26 अप्रैल के बाद से ही हल्के बादल छाए हुए हैं और बारिश हो रही है। रांची और आसपास के जिलों में आकाशीय बिजली से तीन की मौत और एक दर्जन से ज्यादा लोगों के घायल होने की खबर है। प. सिंहभूम के बंदगांव प्रखंड में वज्रपात से दस वर्षीय छात्रा की मौत हो गई, वहीं भाई व चाचा घायल हो गए। रविवार को धनबाद और बोकारो में दो-दो, गिरिडीह और देवघर में एक-एक मौत हुई।
यूपी के बलरामपुर के थाना महराजगंज तराई पूरेबक्स दुल्हिनडीह गांव में रविवार रात 10 बजे तेज आंधी में मस्जिद की मीनार खपरैल के घर पर गिरने से उसके मलबे में दबकर मां-बेटे की मौत हो गई।
उधर, उत्तराखंड में सोमवार को मौसम साफ रहा लेकिन रविवार को हुई बारिश, ओलावृष्टि से खेती, बागवानी को भारी नुकसान हुआ। पिथौरागढ़ में फोन, इंटरनेट ठप है। चम्पावत बिजली गुल है। नैनीताल जिले में सेब, आड़ू, पुलम तथा हल्द्वानी क्षेत्र में आम, लीची को ओलों से नुकसान पहुंचा। पौड़ी जिल में फल, सब्जी और गेहूं की फसल को ओलों से नुकसान पहुंचा है।