उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ मे वैसे तो लाक डाउन है लेकिन सुबह सात बजे से शाम सात बजे तक पुलिस शहर मे कही भी किसी से भी रोकटोक नही कर रही है । सुबह 7 से शाम 7 तक लोग बिना रोकटोक सड़को पर आवाजाही कर रहे है हालाकि पूराने लखनऊ के मुख्य बाज़ार पहले की तरह से ही पूरी तरह से बन्द है लेकिन गली मोहल्लो की दुकाने अब पूरी तरह से खुल रही है । लाक डाउन का पालन कराने के लिए लखनऊ पुलिस सुबह 7 से शाम 7 तक सड़क पर गाड़िया चलाने वालो को भले ही न टोके लेकिन शाम को 7 बजते ही पुलिस पूरी तरह से एक्टिव नज़र आने लगती है लोग बिना वजह रात मे सड़क पर न निकले इस लिए पुलिस की कार्यवाही भी सख्त रहती है हालाकि पुलिस पर अब ये आरोप भी लगने लगे है कि पुलिस अब बिना किसी ठोस वजह के भी दो पहिया वाहनो को सीज़ कर रही है। कई जगह से ये खबरे भी मिली है कि एक मोटर साईकिल पर एक व्यक्ति ही सवार थ लेकिन उसे पुलिस ने रोका तो उसने गाड़ी से सम्बन्धित सभी कागज़ात दिए नियमता ऐसे व्यक्ति पर अगर कोई कार्यवाही हो सकती है तो वो है लाक डाउन के उलंधन की कार्यवाही लेकिन पुलिस पर आरोप लग रहे है कि पुलिस गाड़ी के कागजात देख ही नही रही है और ज़बरदस्ती गाड़ी को सीज़ कर रही है जनता द्वारा पुलिस पर लगाए जा रहे इस तरह के आरोपो को पूरी तरह से खारिज इस लिए भी नही किया जा सकता है क्यूकि थानो पर भारी संख्या मे दो पहिया वाहन एकत्र है जिन्हे थानो मे खड़ा करने तक की जगह अब नही बची है । हालाकि अफसर पुलिस की इस कार्यवाही को गलत तो मान रहे है लेकिन ऐसी कार्यवाही पर तर्क दे रहे है कि पुलिस अगर सख्ती न करे तो लोग रात भर घरो से बाहर घूमते रहेगे और लाक डाउन का कोई लाभ ही नही होगा।