लखनऊ। अधिवक्ता तथा एक्टिविस्ट डॉ नूतन ठाकुर ने इलाहाबाद हाई कोर्ट के जजों तथा न्यायपालिका के लिए अत्यंत अनुचित, अमर्यादित, आपत्तिजनक तथा भड़काऊ शब्दों का प्रयोग किये जाने के संबंध में एफआईआर दर्ज किये जाने की मांग की है. थानाध्यक्ष गोमतीनगर तथा पुलिस कमिश्नर, लखनऊ को दी गयी शिकायत में नूतन ने कहा कि हाई कोर्ट ने लखनऊ शहर में जिला एवं पुलिस प्रशासन द्वारा कतिपय कथित दंगा आरोपियों के सार्वजनिक होर्डिंग लगाए जाने के संबंध में सुनवाई कर 09 मार्च 2020 को अपना आदेश सुनाया, जिसमे कोर्ट ने इन होर्डिंग को विधिविरुद्ध बताते हुए तत्काल हटाने के आदेश दिए. नूतन के अनुसार इस आदेश के पारित होते ही ट्विटर सहित सोशल मीडिया में आदेश देने वाले हाई कोर्ट के दोनों जज तथा पूरी न्यायपालिका के खिलाफ कई तरह की अत्यंत अमर्यादित, अनुचित तथा अभद्र टिप्पणियां की जाने लगीं. ये टिप्पणियां अत्यंत व्यक्तिगत किस्म की थीं, जिसमे जजों द्वारा यह आदेश देने के कई प्रकार के भ्रामक तथा मनगढ़ंत कारण बताये गए. शिकायत के अनुसार ऐसा दिखता है कि ये टिप्पणियां कतिपय व्यक्तियों द्वारा सोची-समझी षडयंत्र के तहत सोशल मीडिया पर पोस्ट कर उसे वायरल किया गया. नूतन ने इसे स्पष्टतया गंभीर आपराधिक कृत्य बताते हुए अविलंब एफआईआर दर्ज करने की मांग की है.
