उत्तराखंड में बेरोजगारी भत्ता बंद, डेढ़ लाख नई नौकरियां देने का वादा

उत्तराखंड में बेरोजगारी भत्ता बंद, डेढ़ लाख नई नौकरियां देने का वादा

उत्तराखंड में डेढ़ लाख से अधिक नौकरियां युवाओं के लिए आने वाली हैं। सिडकुल में प्रस्तावित 25 हजार करोड़ के निवेश से ये नौकरियां पैदा होंगी। राज्य सरकार की ओर से विधानसभा में प्रस्तुत की गई आर्थिक सर्वेक्षण रिपोर्ट में इसका खुलासा हुआ है। वहीं दूसरी तरफ श्रम मंत्री हरक सिंह रावत ने बताया कि राज्य में कांग्रेस सरकार के समय शुरू किया गया बेरोजगारी भत्ता बंद किया जा रहा है।

संसदीय कार्यमंत्री प्रकाश पंत ने बुधवार को विधानसभा में राज्य की पहली आर्थिक सर्वेक्षण रिपोर्ट प्रस्तुत की। सदन के पटल पर रखी गई रिपोर्ट के अनुसार राज्य के सिडकुल क्षेत्रों में इस समय कुल 1836 औद्योगिक इकाइयां हैं। जिसमें से 1400 के करीब इकाइयों में उत्पादन चल रहा है।  इन इकाइयों में मौजूदा समय में 25 हजार करोड़ से अधिक का निवेश प्रस्तावित है। जिससे  1.60 लाख  से अधिक नौकरियां पैदा होने का अनुमान है।

पर्यटन पर जोर 

आर्थिक सर्वेक्षण में पर्यटन पर विशेष फोकस करने पर जोर दिया गया है। राज्य की जीडीपी में पर्यटन क्षेत्र का  कुल 13 प्रतिशत का योगदान है। लेकिन इस क्षेत्र में बजट आवंटन महज 0.28 प्रतिशत है।

बिजली परियोजनाओं को पूरा करने पर फोकस 

राज्य की कुल ऊर्जा क्षमता 25  हजार मेगावाट बिजली उत्पादन की है। जबकि राज्य इस समय कुल 6318 मिलियन यूनिट बिजली का ही उत्पादन कर  पा रहा है। एनजीटी और अन्य पर्यावरणीय वजहों से रुकी योजनाओं पर काम हो तो राज्य अपनी जरूरत से ज्यादा ऊर्जा का उत्पादन करने लगेगा। जो राज्य के आर्थिक  विकास में कारगर होगा।

राज्य के कमजोर और मजबूत पक्षों का पता चलेगा 

वित्त मंत्री प्रकाश पंत ने कहा कि राज्य में विकास की वास्तविकता जानने के लिए आर्थिक सर्वेक्षण कराया गया है। इससे हमें राज्य के कमजोर और मजबूत पक्षों का पता चल पाएगा। इस रिपोर्ट के आधार पर विकास की नई संभावनाएं तलाशी जाएंगी, जबकि पिछले समय में रह गई कमियों को  दूर किया जा जाएगा। इससे खराब स्थिति वाले जिलों की पहचान होगी। ऐसे क्षेत्रों पर विशेष फोकस किया जाएगा।

बेरोजगारी भत्ता अब नहीं मिलेगा : हरक सिंह 

गैरसैंण। कांग्रेस सरकार के दौरान शुरू हुआ बेरोजगारी भत्ता अब नहीं मिलेगा। सदन में श्रम मंत्री हरक सिंह रावत ने यह जानकारी दी। उन्होंने कहा कि बेरोजगारी भत्ते ने युवाओं को प्रोत्साहित करने के बजाय हतोत्साहित  किया। इसलिए सरकार ने सम्यक विचार करने के बाद भत्ते के बजाय युवाओ को तकनीकी रूप से दक्ष बनाने का निर्णय लिया है।

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